पुरानी गर्लफ्रेंड की चूत आज भी उतनी ही टाइट है

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मेरा नाम आकाश है मैं मुंबई में जॉब करता हूं, मैं मुंबई में ही सेटल हो चुका हूं, मेरे माता-पिता पुणे में रहते हैं और कभी कबार वह मुझसे मिलने के लिए आ जाते हैं।

मैं उन्हें कई बार कहता हूं कि आप लोग मेरे साथ ही क्यों नहीं रहते लेकिन वह मुझे कहते हैं कि हम लोग पुणे में ही रहना चाहते हैं क्योंकि यहां पर हम लोगों को सब लोग जानते हैं और हमें पुणे में रहना ही अच्छा लगता है

इसीलिए वह लोग मेरे पास नहीं आते। मैं भी अपने काम में इतना ज्यादा व्यस्त रहता हूं कि मुझे भी समय का पता ही नहीं चल पाता कि कब समय निकल जाता है, मैं अपने लिए भी समय नहीं निकाल पाता।

जब से मैं मुंबई आया हूं तब से मेरा नेचर भी काफी बदल चुका है, मैं अब अपने आप तक ही सीमित रहने लगा हूं, मैं ज्यादा किसी भी दोस्त से नहीं मिलता, सिर्फ अपने काम पर ही पूरा फोकस रखता हूं।

काफी समय से मैंने शॉपिंग नहीं की थी तो एक दिन मैंने सोचा कि क्यों ना आज शॉपिंग कर ली जाए,

मैं उस दिन सुबह ही घर से निकल गया, मैं जब सुबह घर से निकला तो उस दिन काफी ट्रैफिक था और काफी देर तक तो मैं जाम में ही फंसा रहा लेकिन जब मैं मॉल में पहुंचा तो मैंने अपने लिए वहां से कपड़े ले लिए।

मैंने सुबह नाश्ता भी नहीं किया था इसलिए मुझे काफी भूख भी लग गई थी, मैं मॉल के फूड कोर्ट में बैठ गया, मैंने अपने लिए खाने का ऑर्डर कर दिया था, तभी मेरे आगे से रुचि आकर बैठ गई।

मैंने पहले रुचि को पहचाना नहीं क्योंकि वह मुझे शादी के काफी वर्षों बाद मिल रही थी, रुचि ने मुझे कहा कि तुम यहां पर क्या कर रहे हो, मैंने उसे भी यही सवाल पूछा और कहा कि तुम यहां पर क्या कर रही हो, वह कहने लगी मैं तो मुंबई में ही रहती हूं।

मैंने उसे कहा कि मुझे भी मुंबई में 5 वर्ष हो चुके हैं और मैं भी मुंबई में ही सेटल हो चुका हूं,

रुचि कहने लगी तुम्हारा तो कोई कांटेक्ट भी नहीं है और ना ही तुम किसी के साथ फोन पर बात करते हो, मैंने उसे कहा कि अब मैं बहुत बिजी रहने लगा हूं इसलिए मुझे किसी के साथ ज्यादा बात करना भी अच्छा नहीं लगता और मैं ज्यादा समय भी नहीं दे पाता।

वह मुझे कहने लगी तुमने तो मुझसे भी बिल्कुल बात बंद कर दी, तुम पहले तो ऐसे नहीं थे लेकिन अब तुम काफी बदल चुके हो, मैंने उसे कहा कि समय के साथ आदमी के अंदर बदलाव आ ही जाता है।

उसने मुझे कहा कि यदि तुम्हारे अंदर उस वक्त बदलाव आ जाता तो शायद हम दोनों आज एक दूसरे के जीवन में होते, मैंने उससे कहा कि अब पुरानी बातें याद कर के कोई फायदा नहीं है यदि तुमने भी उस वक्त थोड़ा मैनेज किया होता तो शायद सब कुछ ठीक हो सकता था लेकिन तुमने भी तो शादी कर ली।

मैंने उसे कहा कि यह सब बात तुम छोड़ो, तुम यह बताओ कि तुम कैसी हो,  वह कहने लगी मैं तो अच्छी हूं और मेरे पति मुंबई में ही जॉब करते हैं। वह मुझे कहने लगी कि तुम तो अपने जीवन में खुश हो, मैंने उसे कहा हां मैं अपने जीवन में खुश हूं और मम्मी पापा पुणे में ही रहते हैं वह लोग मुंबई नहीं आते।

रुचि मुझसे कहने लगी कि मैं भी अपने जीवन में खुश हूं लेकिन जब मैं तुम्हारे बारे में सोचती हूं तो मुझे कभी बहुत बुरा लगता है, मैंने उससे कहा कि इन सब बातों को अब काफी समय हो चुका है इस बारे में सोच कर कोई फायदा नहीं है, तुम्हें अब अपने जीवन में आगे बढ़ना चाहिए।

मेरे और रुचि के बीच में स्कूल से ही प्रेम प्रसंग था लेकिन मेरे गुस्से के चलते  हम दोनों का रिलेशन नहीं चल पाया, वह मुझे कई बार इस बारे में समझाती भी थी।

मैं अपने स्कूल में बहुत झगड़ा करता था और मैं जब कॉलेज में था उस वक्त भी मेरी यही आदत थी, इस वजह से रूचि कई बार परेशान रहती थी और वह मुझे बहुत समझाती थी, वह मुझसे शादी करना चाहती थी लेकिन पता नहीं शायद हम दोनों एक दूसरे को नहीं समझ पाए। मेरी इसमें बहुत गलती थी, मैं जब से मुंबई में सेटल हुआ हूं

उसके बाद मेरा पूरा जीवन ही परिवर्तित हो गया। मैंने रुचि से कहा आज तुम शॉपिंग करने आई हो, वह कहने लगी हां मैं भी काफी समय से घर से नहीं निकली थी तो सोचा आज शॉपिंग कर लेती हूं

मैंने उस दिन काफी देर तक रुचि के साथ बात की, रुचि ने उस दिन मेरा नंबर भी ले लिया, मैं उसे अपना नंबर नहीं देना चाहता था लेकिन उसने मुझसे बहुत जिद की और कहा कि तुम मुझे अपना नंबर दे दो, मैंने उसे अपना नंबर दे दिया था उसके बाद मैंने उसे कहा मैं तुम्हारे घर तक तुम्हें छोड़ देता हूं।

मैंने उसे उससे उसके घर तक छोड़ दिया, जब मैंने उसे उसके घर छोड़ा तो उसके चेहरे पर एक मुस्कान थी,

मुझे भी उसे देखकर लग रहा था कि शायद मैंने गलती की कि रुचि के साथ में मैं अपने जीवन को आगे नहीं पड़ा पाया लेकिन अब इस बारे में सोच कर कोई भी फायदा नहीं था, रुचि भी अपने घर चली गई और मैं भी वहां से अपने घर लौट आया। उसके बाद रुचि मुझे हमेशा फोन करने लगी वह मुझे अपनी तस्वीरें भेजने लगी,

मैं उसे देखकर नहीं पिघल रहा था परंतु एक दिन उसने मुझे अपनी सेक्सी फोटो भेज दी उस दिन मेरा लंड उसे देखकर खड़ा हो गया मेरी पुरानी यादें ताजा हो गई।

जब रुचि ने मुझे फोन किया तो मैंने उसे कहा तुम मेरे घर पर आ जाओ। मैंने उसे अपने घर का एड्रेस भेज दिया, वह मुझसे मिलने आ गई मुझे यह मालूम था कि आज भी वह मेरे लिए तड़प रही है और मुझसे अपनी चूत मरवाना चाहती है। रुचि मुझसे मिली तो वह मेरे पास बैठ गई वह मेरे हाथों को पकड़ने लगी।

मैंने उसे कहा तुम मेरे हाथों को क्यों पकड़ रही हो, मेरे लंड को अपने मुंह में क्यों नहीं ले रही। जब मैंने उसे कहा तो उसने भी तुरंत मेरे मोटे लंड को अपने मुंह में लेकर चूसना शुरु कर दिया।

उसने मेरे लंड को इतने अच्छे से चूसा कि मुझे मेरे पुराने दिन याद आ गए जिस प्रकार से वह मेरा लंड को चूस रही थी, मै भी उसके गले तक अपने लंड को डालता जाता। जब वह पूरे मूड में हो गई तो मैंने उसे कहा क्या तुम्हारी चूत आज भी टाइट है। वह मुझे कहने लगी तुम खुद ही देख लो।

मैंने जब उसकी चूत के अंदर अपने लंड को डाला तो उसकी चूत पहले जैसी मुलायम और टाइट थी।

मैंने उसे कहा तुम्हारी चूत आज भी पहले जैसी ही टाइट और मजेदार है, मुझे तुम्हें चोदने में बड़ा मजा आ रहा है वह मुझसे अपनी चूत मरवाकर बहुत खुश थी। उसने अपने दोनों पैरों को इतना चौडा कर लिया, मेरा लंड उसकी योनि की दीवार से टकरा रहा था, उसके मुंह से सिसकियां निकल जाती।

वह अपने मुंह से इतनी तेज सिसकिंया ले रही थी मैं भी ज्यादा समय तक उसकी चूत की गर्मी को नहीं झेल पाया और जब मेरा वीर्य पतन हुआ तो वह मुझे कहने लगी तुम्हारा वीर्य बहुत जल्दी गिर गया लगता है तुम्हारे अंदर पहले जैसा दम नहीं रहा। मैंने उसे कहा नहीं काफी दिनों बाद में सेक्स कर रहा हूं इसलिए मेरे अंदर का माल बाहर आ गया। उसने मेरे लंड को दोबारा से चूसा जब वह मेरे लंड को अपने गले में लेती तो मुझे मजा आता।

मैंने उसे अपने ऊपर लेटाया, उसकी योनि के अंदर अपने लंड को डाल दिया। वह अपनी बड़ी चूतड़ों को मेरे लंड के ऊपर नीचे करने लगी उसकी योनि और मेरे लंड से जो घर्षण पैदा होता उसे जो गर्मी निकल रही थी वह एक अलग ही अनुभूति दे रही थी। हम दोनों ही पूरे मूड में हो गए थे, मैंने उसे तेजी से धक्के देने शुरू कर दिए।

वह मुझे कहने लगी आकाश में आज भी तुमसे उतना ही प्यार करती हूं और इतने सालों बाद मैंने तुम्हें देखा तो मैं अपनी चूत मरवाने के लिए तुमसे उतावली हो गई लेकिन तुमने आज मुझे अपने घर बुलाकर मेरी इच्छा पूरी कर दी।

मैंने उसे कहा तुम्हारी चूत आज भी उतनी ही टाइट है, तुम्हारे अंदर आज भी उतना ही मसाला मचा हुआ है। मैंने उसे बहुत देर तक चोदा जब मेरा वीर्य पतन हुआ तो वह हमेशा मुझसे अपनी चूत मरवाने मेरे घर आ जाती है।

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