स्कूल की यादें एक अन्तर्वासना – 1

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हैल्लो दोस्तों, कैसे हैं आप सभी ? मैं उम्मीद करता हूँ कि आप सभी अच्छे होंगे | मेरा नाम सतीश है और मैं कटनी में रहता हूँ | मेरी उम्र 24 साल है और मैं दिखने में पहले गोरा था और अभी सांवला हूँ |

मेरी हाईट 5 फुट 9 इंच है और मेरे लौड़े का साइज़ 7 इंच लम्बा और ३ इंच मोटा है | दोस्तों आज जो मैं आप लोगो के सामने अपनी कहानी लिखने जा रहा हूँ ये मेरी पहली कहानी है और मेरे जीवन की सच्ची घटना है |

मैं उम्मीद करता हूँ कि आप सभी को मेरी ये कहानी जरुर पसंद आयगी और मेरी कहानी पढ़ कर आप लोग उत्तेजित हो उठोगे | दोस्तों मैं चुदाई की कहानिया रोज ही पढता हूँ क्यूंकि लोग इसमें सच्ची घटना लिखते हैं

और जब भी मैं पढता हूँ तो मैं ये भी सोचने लगता हूँ कि बस अब मुठ ही मारा जाये | सॉरी दोस्तों, मैं आप लोगो का ज्यादा समय ना लेते हुए सीधा कहानी शुरू करता हूँ |

मेरे घर में मैं हूँ और मेरे अलावा मेरे मम्मी पापा हैं और दो बहन एक भाई है | मेरे पापा सरकारी फैक्ट्री में हैं और मेरी मम्मी कॉलेज में प्रोफेसर हैं | मेरी दोनों बड़ी बहन फोरेन में जॉब करती हैं और मेरे भाई कोलकाता में जॉब करता हैं |

मेरे घर में पैसे की कोई कमी नहीं हैं लेकिन एक कमी थी मेरी लाइफ में | कमी थी तो बस एक चूत की जो कि मेरे पास नहीं थी | मैं भी ग्रेजुएशन करने के बाद दो साल सरकारी नौकरी की तैयारी खूब की पर मेरी मैथ्स वीक है जिस वजह से मैं एग्जाम क्लियर नहीं कर पा रहा था | अभी मैं फिलहाल प्राइवेट जॉब कर रहा हूँ बैंक में |

दोस्तों आज जो मैं आप लोगो को अपनी घटना बताने जा रहा हूँ ये मेरे स्कूल टाइम की घटना है |

जब मैं स्कूल में पढता था तब मैं एक बिगड़ा हुआ लड़का था | टीचर्स को परेशान करना होमवर्क न करना क्लासवर्क कॉपी कम्पलीट न करना | हर वक़्त शैतानी करना | यही सब मेरा स्कूल टाइम में चल रहा था | मैं भले ही कैसा भी था पर हर एग्जाम में पास होता था | टीचर्स कहते थे कि अगर तुम शैतानियाँ करना छोड़ दो तो एक दिन टॉप कर जाओगे

पर मेरा ये मानना था कि स्कूल लाइफ अच्छे जी लो क्यूंकि ये एक ऐसी लाइफ है जो कभी वापस नहीं आती | एक दिन की बात है मेरे स्कूल में एक लड़की का एडमिशन हुआ जिसका नाम प्राप्ति है | वो दिखने में गोरी है और उसका फिगर सेक्सी है | उसके पापा जज हैं तो उसमे कुछ ज्यादा ही अकड़ थी उस समय |

जब मैंने उसे पहली बार देखा तभी उससे प्यार हो गया मुझे | मुझे उससे प्यार था इसलिए मैं डरता था उसे अपने प्यार का इजहार करने से | मैंने अपनी एक फ्रेंड दिव्या से कहा कि यार मुझे ये लड़की बहुत सुन्दर लगती है और मैं इससे प्यार करता हूँ क्या तू मेरे लिए इससे बात कर सकती है |

तो उसने कहा कि ठीक है अगला पीरियड केमेस्ट्री का है और मैडम आई नहीं है तो मैं इससे जा कर बात करती हूँ | मैंने कहा ठीक है | फिर पता नहीं मुझे की दिव्या ने उससे क्या बात की | उसके बाद अगला पीरियड बायो का था |

जैसे ही मैं बाहर निकला तो देखा कि प्राप्ति मेरे ही तरफ आ रही थी तो उसने गुस्से में मुझे कई सारी बाते सुना ही और समय मेरे सारे दोस्त मेरी हंसी उड़ा रहे थे | प्राप्ति की बाते सुन मुझे बहुत गुस्सा आ रहा था और दुःख भी हो रहा था |

पर मैं कुछ भी नहीं कर सकता था | मैंने उसे सॉरी कहा तो उसने कहा कि सॉरी माय फूट ! ये सुन मुझे बहुत तेज गुस्सा आ गई | फिर मैंने ठान ही लिया कि इसे तो मैं पटा कर ही दम लूँगा |

फिर उसके बाद हमारे एग्जाम हुए | सब ही को लगा था कि मैं इस बार फ़ैल हो जाऊँगा क्यूंकि मैं प्यार में पड़ गया हूँ | प्राप्ति जिस स्कूल में पढ़ती थी वो उस स्कूल में फर्स्ट थी | मैंने कभी टॉप नहीं किया था |

मेरी एक फ्रेंड और थी श्रेया जिसने मुझे उसका मोटिव और सारी डिटेल बता चुकि थी | इसलिए मैंने भी उसको उसका गुरूर गिराने में कोई कसर नहीं छोड़ी | जब एग्जाम के एक महीने के बाद रिजल्ट आये तब हमारे स्कूल में जो भी टॉप करता था उसका नाम स्टेज पर बोलते थे और वहीँ पर पहला, दूसरा, तीसरा का इनाम भी देते थे |

उस समय सुबह सुबह ख़ामोशी का माहौल था कि देखते हैं कि इस बार टॉप किसने किया है | तभी सर ने एक नाम कहा अनुराग | ये समय का टोपर था | सभी को लगा कि इसने टॉप किया होगा पर ये थर्ड नंबर पर था | ये सुन सभी हैरान रह गए | मैं बस अपने मन में दुआ मना रहा था कि मैं किसी भी नंबर में रहू बस प्राप्ति से ऊपर रहू |

फिर सेकंड नंबर सर ने कहा कि प्राप्ति | तो वो प्राइज लेने तो पंहुची पर उसे ऐसी उम्मीद न थी कि वो सेकंड आयगी और उसे ये तो बिलकुल भी उम्मीद न थी कि फर्स्ट मैं आऊंगा | जब सर ने मेरा नाम लिए कि सतीश जो कि कभी किसी रैंक में नहीं आया ये फर्स्ट आया है |

ये सुन सभी चौंक गए | जो इतना बदमाश लड़का है ये कैसे टॉप मार सकता है | उसके बाद काफी लड़की मुझे लाइन देने लगी थी और मुझे कई प्रपोजल आने लगे थे पर मैं किसी के भी तरफ ध्यान नहीं देता था | तभी एक दिन मैं अपनी क्लास में बैठा पढ़ रहा था और उतने में प्राप्ति आ गई |

मैं उस समय अकेले था | उसने मुझसे बात करते हुए कहा कि सॉरी मैंने तुम्हे गलत समझा | मैं तुम्हारा प्रपोजल स्वीकार करती हूँ | मैंने भी उसे कुछ नहीं कहा | मुझे उससे अब प्यार नहीं था और मैं बस उसे चोद कर उसका गुरूर तोडना चाहता था | उसके बाद एक दिन सन्डे को उसका कॉल आया कि यार मैं घर में अकेली हूँ और मुझे एक प्रोब्लम नहीं बन रही है तुम आ सकते हो क्या ? तो मैंने कहा ठीक है मैं आता हूँ |

जब मैं उसके घर गया तो उसने मुझे सीधा अपनी बांहों में भर ली और मेरे होंठ में अपने होंठ रख दिए और मेरे होंठ को चूसने लगी | मैं तो जानता ही था कि ये एक दिन मेरे प्यार में जरुर पड़ेगी | मैं भी उसका साथ देते हुए उसके होंठ को चूसने लगा | मैं उसके होंठ को चूसने के साथ साथ उसके दूध भी मसलने लगा |

वो भी मेरे होंठ को चूसते हुए मेरे लंड को जीन्स के ऊपर से ही मसलने लगी | फिर मैंने उसके टॉप को निकाल दिया और ब्रा के ऊपर से ही उसके दूध को दबाने लगा तो उसके मुंह से आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह आआनाहा ऊउन्न्ह

ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहहहः आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह आआनाहा ऊउन्न्ह ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहह की सिस्कारिया निकलने लगी |

फिर मैंने उसके ब्रा को उतार दिया और उसके दूध को अपने मुंह में ले कर चूसने लगा बारी बारी से तो वो आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः

अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह आआनाहा ऊउन्न्ह ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहहहः आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः

अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह आआनाहा ऊउन्न्ह ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहह करते हुए मेरे सिर पर हाँथ फेरने लगी |

उसके बाद उसने मेरी टी-शर्ट को उतार दिया और फिर मुझे बेड पर बैठा कर मेरे जीन्स को भी उतार दिया | अब मैं उसके सामने बस अंडरवियर में था |

फिर उसने उसको बी उतार दी और मेरे लंड को हिलाने लगी तो मेरे मुंह से आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह

आआनाहा ऊउन्न्ह ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहहहः आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह आआनाहा ऊउन्न्ह ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहह की सिस्कारिया निकलने लगी |

जब मेरा लंड एक सैम लोहे की तरह सख्त हो गया तो उसने अपनी जीभ से चाटने लगी तो मैं आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः

अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह आआनाहा ऊउन्न्ह ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहहहः आआहाआह ऊउन्न् आहाहाह ऊउम्म्म ऊनंह अआहा आअह्ह्हाअ अहहहः अहहाआअ ऊउन्न ऊउम्म्ह आआनाहा ऊउन्न्ह ऊम्म्ह आहाहाहा ऊनंह ऊउम्ह आहाहहा ऊउन्न्ह ऊउम्म्ह अहह करते हुए बिस्तर पर ही लेट गया |

दोस्तों ये मेरी अधूरी कहानी है | मैं उम्मीद करता हूँ कि आप सभी को मेरी ये कहानी जरुर पसंद आई होगी | मैं जल्द ही आप लोगो के सामने इस कहानी का दूसरा पार्ट पेश करता हूँ |

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